Who Is IPS Dhawal Jaiswal: कौन हैं आईपीएस धवल जायसवाल ! जिन्हें Fatehpur का बनाया गया है पुलिस अधीक्षक
IPS Dhawal Jaiswal Biography In Hindi
उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के फतेहपुर (Fatehpur) की कमान संभालने वाले धवल जायसवाल (IPS Dhawal Jaiswal) के काम करने का तरीका बेहद की निराला है. प्रयागराज चित्रकूट कुशीनगर के बाद फतेहपुर उन्हें भेजा गया है. जानिए उनके जीवन के कुछ तथ्य (IPS Dhawal Jaiswal Biography In Hindi)
Who Is IPS Dhawal Jaiswal: यूपी में बुधवार को 8 आईपीएस अधिकारियों के ट्रांसफर के साथ ही दो जिलों के पुलिस कप्तानों का भी स्थानांतरण कर दिया जिनमें फतेहपुर और कुशीनगर (Kushinagar) के एसपी शामिल हैं. फतेहपुर के पुलिस अधीक्षक उदय शंकर सिंह (IPS Uday Shankar Singh) को मुख्यालय के ट्रेनिंग सेंटर भेजा गया है वहीं कुशीनगर के कप्तान धवल जायसवाल (IPS Dhawal Jaiswal) को पुलिस अधीक्षक फतेहपुर बनाया गया है. गुरुवार को उन्होंने अपना पदभार ग्रहण कर लिया है. जानकारों की मानें तो धवल की गिनती बेहतर पुलिसकर्मियों में होती हैं. जानिए उनके जीवन से जुड़े कुछ विशेष तथ्य
सुल्तानपुर में जन्म प्रयागराज में पढ़ाई दिल्ली से गोल्ड मेडलिस्ट
धवल जायसवाल (IPS Dhawal Jaiswal) मूल रूप से यूपी के सुल्तानपुर (Sultanpur) जिले के रहने वाले हैं. 37 वर्षीय धवल जायसवाल के पिता का नाम नंद किशोर जायसवाल है. बचपन से ही पढ़ने में मेधावी रहे धवल की शुरुआती शिक्षा सुल्तानपुर जिले में ही हुई उसके बाद इलाहाबाद विश्वविद्यालय से साल 2004 से 2007 तक बीए किया.
जानकारी के मुताबिक प्रयागराज के बाद धवल जायसवाल (IPS Dhawal Jaiswal) दिल्ली के जेएनयू पहुंच गए और वहां से एमए की डिग्री ली. स्नातकोत्तर करने के बाद इन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय से एमफिल किया. बताया जा रहा है कि जेएनयू और दिल्ली विश्वविद्यालय में ये गोल्ड मेडलिस्ट रहे हैं.
पढ़ाई में टॉपर रहने की वजह से धवल जायसवाल को दिल्ली यूनिवर्सिटी में असिस्टेंट प्रोफेसर की नौकरी मिल गई. अध्यापन के साथ ही इन्होंने सिविल सर्विसेज की तैयारी शुरू कर दी. साल 2016 में आईपीएस अफसर बने और यूपी कैडर मिला. बताया जा रहा है कि 2017 में भी सिविल की परीक्षा दी थी जिसमें भी इनको IPS ही मिला था.
ट्रेनिंग पूरी होने के बाद धवल जायसवाल को पहली पोस्टिंग प्रयागराज में मिली और गंगा पार का एएसपी बना दिया गया. प्रयागराज के बाद चित्रकूट के एसपी बनाए गए. उसके बाद कुशीनगर के कप्तान बने फिर फतेहपुर के पुलिस अधीक्षक बना दिए गए.
चित्रकूट में शुरू की थी "जनसुनवाई आपके द्वार" (IPS Dhawal Jaiswal Biography In Hindi)
साल 2016 बैच के आईपीएस धवल जायसवाल ने चित्रकूट एसपी (Chitrakoot SP) बनने के बाद एक नई पहल शुरू की थी जो कि "जनसुनवाई आपके द्वार" के नाम से थी. इस अनूठी पहल का मकसद था कि मुख्यालय या दूर के फरियादियों को पुलिस से मिलने के लिए चक्कर नहीं लगाना पड़ेगा.
घर बैठ कर पुलिस अधीक्षक और आला अधिकारियों से वीडियो कॉल के जरिए संपर्क कर पूरी बात बताना और साक्ष्य दिखना. धवल जायसवाल ने इसके अलावा भी एक ऐसी व्यवस्था की थी जिन फरियादियों के पास स्मार्ट फोन नहीं हैं उन्हें पास के थाने में हेल्प डेस्क के माध्यम से वीडियो कॉल कराई जाए. इस नई पहल से लोगों का समय भी बचता था और उनका समाधान भी त्वरित होता था.
जब ट्रैक्टर पर बैठकर बाढ़ ग्रस्त इलाके का किया दौरा (Who is IPS Dhawal Jaiswal)
आईपीएस धवल जायसवाल जिस जिले में जाते हैं उनकी कार्यकुशलता से लोग प्रभावित हो जाते हैं. प्रयागराज चित्रकूट से लेकर कुशीनगर में उनके बेहतर काम को लोगों ने खूब सराहा. जनपद कुशीनगर में उनका फोटो सोसल मीडिया में खूब वायरल हुआ था जब बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में जाने के लिए कोई संसाधन नहीं था तो धवल जायसवाल एक किसान के साथ ट्रैक्टर में बैठकर निकल पड़े थे.
प्लेटिनम शौर्य मेडल से हो चुके हैं सम्मानित (IPS Dhawal Jaiswal)
आईपीएस धवल जायसवाल की कार्यशैली और बेहतर पुलिसिंग के लिए उन्हें कुशीनगर में 75वें गणतंत्र दिवस के अवसर पर डीजीपी ने प्लेटिनम शौर्य मेडल से सम्मानित किया था. गोरखपुर परिक्षेत्र में अपराधों पर नियंत्रण लगाने और वीरता के आधार पर 36 मुठभेड़ कर बदमाशों को दबोचने के लिए उन्हें ये सम्मान दिया गया था. इससे पहले सिल्वर और गोल्ड से भी उन्हें सम्मानित किया जा चुका है.
मोटिवेशनल स्पीकर के रूप में छात्र करते हैं बेहद पसंद (Who is IPS Dhawal Jaiswal)
आईपीएस धवल जायसवाल को मोटिवेशनल स्पीकर के रूप में छात्र बेहद पसंद करते हैं. हिंदी मीडियम के छात्र रहे धवल का एक शिक्षक में रूप में दिल्ली विश्वविद्यालय में अध्यापन रहा. छात्रों से जब भी मुलाकात होती है तो वो उन्हें कहते हैं कि यूपीएससी पास करने के लिए कोई शॉटकट नहीं होता.
सही दिशा में योजनाबद्ध तरीके से पढ़ाई करने वाला ही विजय पाता है. इलाहाबाद यूनिवर्सिटी में छात्रों से बात करते हुए उन्होंने कहा था कि लक्ष्य क्लियर होना बेहद जरूरी है इसके बिना आपको सफलता नहीं मिल सकती है.