Fatehpur news:रिटायरमेंट के बाद भी विभाग में जमा हुआ है बाबू.आरडी घोटाले में पहले हो चुका है निलंबित!
फतेहपुर के आरईएस विभाग में रिटायमेंट के बाद भी एक क्लर्क अधिकारियों का आज भी कृपा पात्र बना हुआ है।जबकि सन 2001 में एक घोटाले के तहत उसका निलम्बन और रिकवरी भी की जा चुकी है।पढ़ें युगान्तर प्रवाह की एक रिपोर्ट...
फतेहपुर:योगी सरकार भले ही भ्रष्टाचार मुक्त प्रदेश की बात करती हो लेकिन उनके मातहतों पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ता है।मामला जिले के आरईएस(ग्रामीण अभियंत्रण सेवा प्रखंड) विभाग का है जहां रिटायरमेंट के बाद भी रवींद्र कुमार सिंह नाम का क्लर्क आज अधिकारियों का कृपा पात्र बना हुआ है।fatehpur news
भ्रष्टाचार के मामले में निलंबित हो चुका है बाबू।
आरईएस विभाग में काम कर रहे बाबू का सन 2001 में आरडी(RD) घोटाले के तहत निलम्बन हो चुका है साथ ही इसके दो इंक्रीमेंट भी रुके थे और इसके वेतन से सात लाख दस हज़ार की वसूली भी की जा चुकी है।नाम न छापने की शर्त पर एक शख़्स ने बताया कि आरडी घोटाले के दौरान कई टीमें जांच के लिए फतेहपुर आईं थी यहां तक कि रवींद्र के जेल जाने तक की नौबत आ गई थी लेकिन उस वक़्त भागीय सेटिंग से वो जेेेल जानें से बच गया था।
ठेकेदारों और अधिकारियों के बीच मध्यस्थता करने में माहिर है रवींद्र..
मूलरूप से बिहार का रहने वाला रवींद्र कुमार सिंह 80 के दसक से आरईएस विभाग में काम कर रहा है।और बहुत ही कम समय में इसने अधिकारियों की नज़रों में अपनी पकड़ बना ली थी।सूत्रों के अनुसार ठेकेदारों और अधिकारियों के बीच मध्यस्थता का काम इसने बखूबी किया और वित्तीय चार्ज न होते हुए भी रवींद्र ने उसका काम किया औऱ नवंबर 2020 में सेवानिवृत्त हो जाने के बाद भी जारी है। fatehpur latest news
आरईएस के एक्सईएन ने क्या कहा?
ग्रामीण अभियंत्रण सेवा प्रखंड फतेहपुर के अधिशाषी अभियंता नीरज कुमार ने युगान्तर प्रवाह को जानकारी देते हुए कहा कि उनके यहाँ लिपिकों की कमी है जिसकी वज़ह से रवींद्र अन्य बाबूओं को काम सिखाने के लिए आते हैं।गोपनीयता के सवाल पर एक्सईएन ने कहा कि रवींद्र द्वारा अगर कोई भी ग़लत काम किया जाता है तो उसके लिए मैं जिम्मेदार हूँ।