मौनी अमावस्या 2020:इस साल बन रहे हैं, विशेष योग..ऐसे करें स्नान तभी होगा लाभ..!
हिन्दू धर्म में मौनी अमावस्या का विशेष महत्व होता है।क्या है इस बार मौनी अमावस्या पर खास..जानें युगान्तर प्रवाह की रिपोर्ट में।
डेस्क:हिन्दू धर्म शास्त्रों के अनुसार वैसे तो प्रति महीने होने वाली अमावस्या का महत्व होता है।लेक़िन साल की कुछ अमावस्या का विशेष महत्व होता है।ऐसी ही एक अमावस्या माघ महीने में होती है।जिसे मौनी अमावस्या के नाम से जाना जाता है। (mauni amavasya kab h)
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इस साल मौनी अमावस्या 24 जनवरी को है।मौनी अमावस्या पर प्रयागराज के संगम तट पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु डुबकी लगाते हैं। (mauni amavasya shubh muhurt)
शुभ मुहूर्त...
मौनी अमावस्या के बारे में ये भी कहा जाता है कि इस दिन मनु ऋषि का जन्म हुआ था और मनु शब्द से ही मौनी की उत्पत्ति हुई है।इसलिए इस अमावस्या को मौनी अमावस्या कहते हैं।
शास्त्रों में लिखा है कि होंठों से ईश्वर का जाप करने से जितना पुण्य मिलता है।उससे कई गुणा अधिक पुण्य मौन रहकर जाप करने से मिलता है। वैसे तो दिन भर मौन रखने की बात कही गई है लेकिन अगर दान से पहले सवा घंटे तक मौन रख लिया जाए तो दान का फल 16 गुना अधिक मिलता है और मौन धारण कर व्रत का समापन करने वाले को मुनि पद की प्राप्ति होती है।
अमावस्या तिथि (mauni amavasya date) का प्रारंभ 24 जनवरी 2020 को भोर पहर 2 बजकर 18 मिनट से लेकर 24 को पूरा दिन तक रहेगी।अगले दिन यानी 25 जनवरी 2020 को भोर पहर 3 बजकर 12 मिनट तक रहेगी।खास बात ये है कि इस बार मौनी अमावस्या ब्रह्म मुहूर्त यानी रात के आखिरी पहर में शुरू हो रही है।इसलिए यही स्नान का सबसे शुभ समय होगा।24 जनवरी को रात के आखिरी पहर से लेकर आप सूर्यास्त होने से पहले स्नान कर सकते हैं।
स्नान दान विधि...
सुबह या शाम को स्नान के पहले संकल्प लें,पहले जल को सिर पर लगाकर प्रणाम करें फिर स्नान करें साफ कपड़े पहनें और जल में काले तिल डालकर सूर्य को अर्घ्य दें,फिर मंत्र जाप करें और सामर्थ्य के अनुसार वस्तुओं का दान करें,चाहें तो इस दिन जल और फल ग्रहण करके उपवास रख सकते हैं।